बस यही प्रयास कि लिखती रहूँ मनोरंजन नहीं आत्म रंजन के लिए

Monday, 8 December 2025

यामिनी की गोद में



 रवि के अहम-ताप से 

झुलसे मनु के मन का 

मृगांक की श्वेत-प्रभा संग 

अठखेलियाँ करना 

ही तो उपचार है 

फिर यामिनी के कृष्ण रंग को 

क्यों कोसता यह संसार है?

देखो! इसी की गोद में 

प्रेम का होता सुंदर विस्तार है।


#आँचल

( चित्र का श्रेय मेरी प्यारी भाभी श्रीमती पूर्णिमा मिश्रा को )


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